मकबरे के स्थानांतरण के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई को उच्चतम न्यायालय सहमत
गोला पवनेश
- 19 Sep 2025, 04:14 PM
- Updated: 04:14 PM
नयी दिल्ली, 19 सितंबर (भाषा) उच्चतम न्यायालय ने शुक्रवार को डेविड येल और जोसेफ हाइनमर के मकबरे को स्थानांतरित करने के आदेश के खिलाफ याचिका पर सुनवाई करने पर सहमति व्यक्त की। साथ ही स्मारक के संबंध में यथास्थिति बनाए रखने का आदेश दिया।
मद्रास लॉ कॉलेज (अब डॉ. आंबेडकर गवर्नमेंट लॉ कॉलेज) के परिसर में स्थित इस मकबरे को फोर्ट सेंट जॉर्ज गजट में जनवरी 1921 की अधिसूचना के माध्यम से संरक्षित स्मारक घोषित किया गया था। यह कॉलेज उच्च न्यायालय परिसर का हिस्सा है।
न्यायमूर्ति विक्रम नाथ और न्यायमूर्ति संदीप मेहता की पीठ ने मद्रास उच्च न्यायालय के अप्रैल के आदेश को चुनौती देने वाली याचिका पर संस्कृति मंत्रालय और अन्य को नोटिस जारी कर जवाब मांगा।
पीठ ने कहा, ‘‘नोटिस जारी करें और चार सप्ताह के भीतर जवाब दें।’’
पीठ ने याचिकाकर्ता की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता श्याम दीवान से पूछा कि क्या वह उच्च न्यायालय के आदेश के क्रियान्वयन पर रोक चाहते हैं।
दीवान ने कहा, ‘‘मैं बस इतना कहूंगा कि जहां तक इस स्मारक का संबंध है, यथास्थिति बरकरार रखी जाए।’’
जून 2023 में उच्च न्यायालय की एकल पीठ ने एक याचिका को मंजूर कर लिया था, जिसमें कॉलेज परिसर में स्थित मकबरे को प्राचीन स्मारक नहीं घोषित करने की मांग की गई थी।
याचिका में एक निश्चित समय सीमा के भीतर मकबरे को स्थानांतरित करने का निर्देश देने का भी अनुरोध किया गया था।
अप्रैल में, उच्च न्यायालय की एक खंडपीठ ने एकल न्यायाधीश के आदेश को बरकरार रखा और अपीलों को खारिज कर दिया।
खंडपीठ ने कहा कि कि 1687 से 1692 तक मद्रास के तत्कालीन गवर्नर एलिहू येल के पुत्र डेविड येल और एलिहू येल के मित्र जोसेफ हाइनमर की कब्र कॉलेज परिसर में स्थित है।
उच्च न्यायालय ने कहा कि एलीहू येल 1692 तक गवर्नर रहे और 1699 में इंग्लैंड चले गए तथा उन्होंने अमेरिका के कनेक्टिकट कॉलेज को बड़ा दान दिया, जो बाद में येल विश्वविद्यालय बना।
उच्च न्यायालय ने कहा कि न तो उसके समक्ष कोई सामग्री प्रस्तुत की गई और न ही कोई तर्क दिया गया कि स्मारक ऐतिहासिक, पुरातात्विक या कलात्मक महत्व का है। केवल यही कहा गया कि एलिहू येल ने अमेरिका में कनेक्टिकट कॉलेज को उदारतापूर्वक दान दिया और बाद में येल विश्वविद्यालय ने तमिल अध्ययन का एक विभाग स्थापित किया।
भाषा गोला