विपक्ष के संदेह के बीच केरल सरकार ने ‘ग्लोबल अय्यप्पा संगमम’ का बचाव किया
नेत्रपाल पवनेश
- 04 Sep 2025, 03:25 PM
- Updated: 03:25 PM
पथनमथिट्टा (केरल), चार सितंबर (भाषा) त्रावणकोर देवस्वोम बोर्ड द्वारा राज्य सरकार के सहयोग से आयोजित किए जा रहे ‘ग्लोबल अय्यप्पा संगमम’ को लेकर बृहस्पतिवार को केरल में मिली-जुली प्रतिक्रिया दिखी। सरकार इस बात पर जोर दे रही है कि यह एक भक्ति समागम है, जबकि विपक्षी नेताओं ने इसके उद्देश्य और समय पर सवाल उठाए हैं।
पूर्व भाजपा प्रमुख कुम्मनम राजशेखरन और नेता विपक्ष वी डी सतीशन ने सरकार की भूमिका पर संदेह जताया है, जबकि देवस्वोम मंत्री वी एन वासवन ने टीडीबी की प्लैटिनम जुबली के हिस्से के रूप में शिखर सम्मेलन का बचाव किया।
मिजोरम के पूर्व राज्यपाल कुम्मनम राजशेखरन ने यहां कहा कि 20 सितंबर को पम्पा में केरल सरकार के सहयोग से टीडीबी द्वारा आयोजित किए जा रहे ‘ग्लोबल अय्यप्पा संगमम’ में शामिल होने से किसी को नहीं रोका जाएगा।
उन्होंने यह टिप्पणी पंडालम राजपरिवार के प्रतिनिधियों से मुलाकात के बाद की तथा उन्हें टीडीबी शिखर सम्मेलन के विकल्प के रूप में विभिन्न हिंदू संगठनों और भाजपा द्वारा आयोजित किए जा रहे ‘सबरीमाला संरक्षण संगमम’ में आमंत्रित किया।
राजशेखरन ने कहा, ‘‘किसी को भी अय्यप्पा संगमम में शामिल न होने के लिए नहीं कहा जाएगा। लेकिन इसके पीछे की मंशा पर सवाल है। क्या राज्य सरकार को ऐसा शिखर सम्मेलन आयोजित करने का कोई नैतिक अधिकार है? एक गैर-धार्मिक सरकार को अय्यप्पा संगमम आयोजित करने का क्या अधिकार है? जब हमने उनसे मामले वापस लेने के बारे में पूछा, तो उन्होंने कहा कि यह अदालत में विचाराधीन है। जब हमने उच्चतम न्यायालय के हलफनामे के बारे में पूछा, तो उन्होंने फिर कहा कि यह अदालत में विचाराधीन है।’’
पंडालम महल के प्रतिनिधि एन शंकर वर्मा ने कहा कि राजपरिवार ने अभी तक यह निर्णय नहीं लिया है कि वह किसी शिखर सम्मेलन में भाग लेगा या नहीं।
उन्होंने कहा, ‘‘हम इन शिखर सम्मेलनों के पीछे की मंशा समझ नहीं पाए। महल श्रद्धालुओं के साथ खड़ा रहेगा। परंपराओं की रक्षा करना हमारा कर्तव्य है। अगर इन आयोजनों से श्रद्धालुओं को मदद मिलती है, तो हम उनके साथ खड़े होंगे। अन्यथा, हम इनसे दूर रहेंगे।’’
पंडालम महल को भगवान अय्यप्पा का पैतृक घर माना जाता है, और इसके सदस्य सबरीमाला तीर्थयात्रा के दौरान महत्वपूर्ण अनुष्ठान भूमिका निभाते हैं, जिसमें मकरविलक्कु उत्सव के लिए मंदिर में पवित्र आभूषण (तिरुवभरणम) लाना भी शामिल है।
इस बीच, देवस्वोम मंत्री वासवन ने कहा कि ‘ग्लोबल अय्यप्पा संगमम’ के पीछे कोई राजनीति नहीं है।
उन्होंने कहा, ‘‘मुझे लगता है कि विपक्ष के केवल एक नेता ने शिखर सम्मेलन पर आपत्ति जताई है। विपक्ष ने एकजुट स्वर में इसका विरोध नहीं किया है। इसमें कोई राजनीति नहीं है। यह केवल अयप्पा भक्तों का एक शिखर सम्मेलन है, जो टीडीबी की प्लेटिनम जयंती के हिस्से के रूप में आयोजित किया गया है।’’
वासवन ने कहा कि उन्हें भाजपा और अन्य संगठनों द्वारा समानांतर शिखर सम्मेलन आयोजित करने पर कोई आपत्ति नहीं है।
हालांकि, कांग्रेस नेता सतीशन ने सत्तारूढ़ माकपा की आलोचना करते हुए आरोप लगाया कि भगवान अय्यप्पा के प्रति उसकी ‘‘अचानक भक्ति’’ चुनाव से पहले ‘‘राजनीति से प्रेरित’’ है।
भाषा
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