प्रदूषण रोधी उपायों के लिए नागरिक सुरक्षा स्वयंसेवकों दो-चार दिनों में बहाल किया जाएगा: आतिशी
प्रीति रंजन
- 03 Nov 2024, 10:11 PM
- Updated: 10:11 PM
नयी दिल्ली, तीन नवंबर (भाषा) दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी ने रविवार को घोषणा की कि वायु प्रदूषण से निपटने वाली विभिन्न एजेंसियों की सहायता के लिए पिछले साल बस मार्शल के पद से हटाए गए 10,000 नागरिक सुरक्षा स्वयंसेवकों (सीडीवी) की तैनाती अगले 2-4 दिन में शुरू हो जाएगी।
मुख्यमंत्री ने यहां एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि उनकी स्थायी नियुक्ति के लिए एक विस्तृत प्रस्ताव भी एक सप्ताह के भीतर उपराज्यपाल वीके सक्सेना की मंजूरी के लिए भेजा जाएगा।
ये घोषणाएं उपराज्यपाल द्वारा आतिशी को लिखे पत्र के एक दिन बाद आई हैं, जिसमें उन्होंने कहा था कि सीडीवी को तुरंत फिर से नियुक्त करने के उनके आदेश के बावजूद उन्हें अभी तक इस संबंध में कोई प्रस्ताव नहीं मिला है।
सक्सेना ने अपने पत्र में कहा, ‘‘बेशक, आप और आपकी पार्टी के नेता उनकी बहाली का श्रेय लेने की राजनीति करते रहेंगे, लेकिन आर्थिक रूप से इन कमजोर एवं असहाय लोगों के कल्याण में और देरी किसी भी तरह से सही नहीं है।’’
राजस्व एवं वित्त विभागों द्वारा आपत्ति जताए जाने के बाद पिछले साल नवंबर में दिल्ली में सार्वजनिक बसों में मार्शल के रूप में काम करने वाले लगभग 10,000 सीडीवी को उनके पदों से हटा दिया गया था।
दिल्ली की मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले सप्ताह एक बैठक में विभिन्न एजेंसियों द्वारा किए गए विभिन्न प्रदूषण रोधी उपायों के कार्यान्वयन की जिम्मेदारी सीडीवी को पहले ही दी जा चुकी है।
उन्होंने कहा, ‘‘उनकी तैनाती अगले 2-4 दिन में शुरू हो जाएगी।’’
आतिशी ने भाजपा की आलोचना करते हुए कहा कि उसे इस मुद्दे पर अपनी ‘‘गंदी राजनीति’’ बंद करनी चाहिए। उन्होंने दावा किया कि भाजपा सीडीवी की स्थायी नियुक्ति के लिए उपराज्यपाल को भेजे गए आप सरकार के प्रस्ताव को रोकने का प्रयास करेगी।
आतिशी ने आरोप लगाया, ‘‘मैं भाजपा नेताओं से कहना चाहती हूं कि बस मार्शल के मुद्दे पर अपनी गंदी राजनीति बंद करें। पहले तो पिछले साल अप्रैल में उनका वेतन रोक दिया गया और अंत में भाजपा की साजिश के चलते अक्टूबर 2023 में उन्हें हटा दिया गया।’’
भाजपा की दिल्ली इकाई के प्रमुख वीरेंद्र सचदेवा ने कहा कि आतिशी इस मामले पर चाहे जितनी भी कहानियां गढ़ लें, अगर मुख्यमंत्री सोमवार तक सीडीवी की दोबारा नियुक्ति का प्रस्ताव उपराज्यपाल को नहीं भेज पाईं तो वह उनके आवास के बाहर प्रदर्शन करेंगे।
सचदेवा ने एक बयान में कहा, “यह अजीब बात है कि आतिशी उपराज्यपाल द्वारा सीडीवी की दोबारा नियुक्ति के निर्देश का पालन करने की हमारी मांग पर इतनी उत्तेजित हो रही हैं और मामले को भटकाने के लिए ‘कश्मीर से कन्याकुमारी’ तक के उदाहरण दे रही हैं।”
उन्होंने कहा, “फिर भी वह यह नहीं बता पाईं कि उनकी सरकार ने उपराज्यपाल के स्पष्ट आदेश के बावजूद एक नवंबर से 10,000 सीडीवी को दोबारा नियुक्त क्यों नहीं किया?”
भाजपा नेता ने कहा कि सीडीवी अस्थायी कर्मचारी हैं, जिन्हें दैनिक वेतन मिलता है और आतिशी सरकार की ‘लापरवाही’ के कारण ऐसा लगता नहीं है कि उन्हें अगले तीन से चार दिनों में नियुक्त किया जाएगा।
सचदेवा ने आतिशी को चुनौती दी कि वह एक भी भाजपा शासित राज्य का नाम बताएं जहां अनुबंध श्रमिकों को हटाया जा रहा हो या वे वेतन संकट का सामना कर रहे हों।
आतिशी ने आरोप लगाया था कि भाजपा अपने शासित राज्यों में संविदा कर्मचारियों के साथ ‘गंदी राजनीति’ कर रही है, जबकि आप शासित पंजाब हजारों सफाई कर्मचारियों और शिक्षकों को स्थायी नौकरी देने वाला एकमात्र राज्य है।
भाषा
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