हरियाणा में दशहरा बाद नयी सरकार के शपथ लेने की संभावना
संतोष माधव
- 10 Oct 2024, 08:08 PM
- Updated: 08:08 PM
चंडीगढ़, 10 अक्टूबर (भाषा) हरियाणा में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की नई सरकार के शपथ ग्रहण समारोह को दशहरा के बाद आयोजित किये जाने की संभावना है और कैबिनेट के गठन में जाति और क्षेत्रीय समीकरण जैसे कारकों पर विचार किया जा सकता है। सूत्रों ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी।
विधानसभा चुनाव में पार्टी की जीत के बाद राज्य में नई सरकार के प्रमुख के रूप में अपने संभावित शपथ ग्रहण से पहले नायब सिंह सैनी ने बुधवार को दिल्ली में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और अन्य वरिष्ठ भाजपा नेताओं से मुलाकात की थी।
सैनी ने बृहस्पतिवार को राष्ट्रीय राजधानी में केंद्रीय मंत्री और हरियाणा के लिए भाजपा के चुनाव प्रभारी धर्मेंद्र प्रधान से भी मुलाकात की।
भाजपा ने चुनावों के दौरान संकेत दिया था कि मार्च में मुख्यमंत्री के रूप में मनोहर लाल खट्टर की जगह लेने वाले और अन्य पिछड़ा वर्ग से आने वाले सैनी अगर जीतते हैं तो शीर्ष पद के लिए वह पार्टी की पसंद होंगे।
पार्टी ने अपना अब तक का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करते हुए 48 सीट हासिल की है जो कांग्रेस की सीट संख्या से 11 अधिक है। इस चुनाव में जजपा और आप का सफाया हो गया और इनेलो सिर्फ दो सीट जीतने में सफल रही।
राज्य के एक भाजपा नेता ने कहा कि नई सरकार का शपथ ग्रहण समारोह 12 अक्टूबर के दशहरा उत्सव के बाद आयोजित किये जाने की संभावना है।
निवर्तमान सैनी कैबिनेट के 10 में से आठ मंत्रियों को हरियाणा विधानसभा चुनाव में हार का सामना करना पड़ा, लेकिन महिपाल ढांडा और मूलचंद शर्मा क्रमश: पानीपत ग्रामीण और बल्लभगढ़ सीट से जीत दर्ज करने में सफल रहे।
सूत्रों ने कहा कि ढांडा, जो जाट समुदाय से आते हैं, और शर्मा (एक वरिष्ठ नेता और एक ब्राह्मण चेहरा), दोनों नई सरकार में मंत्री पद के संभावित दावेदारों में शामिल हैं।
हरियाणा में मुख्यमंत्री सहित अधिकतम 14 मंत्री हो सकते हैं।
भाजपा ने इस बार अहीरवाल क्षेत्र में अपना प्रभुत्व बरकरार रखा।
हरियाणा की 17 अनुसूचित जाति (एससी) के लिए सुरक्षित सीट में से भाजपा ने आठ पर जीत हासिल की।
दलित समुदाय के जो नेता मंत्री पद की दौड़ में शामिल हो सकते हैं उनमें इसराना सीट से जीते वरिष्ठ नेता कृष्ण लाल पंवार और कृष्ण कुमार शामिल हैं।
राज्यसभा सदस्य रहे पंवार ने विधानसभा चुनाव लड़ा था।
नरवाना से जीते पूर्व विधायक कृष्ण कुमार भी मंत्री पद के लिए पसंद हो सकते हैं। दक्षिण हरियाणा के अहीरवाल क्षेत्र में पार्टी ने 11 में से 10 सीट जीती हैं। इस क्षेत्र के अधिकांश उम्मीदवार केंद्रीय मंत्री और गुड़गांव के सांसद राव इंद्रजीत सिंह के करीबी माने जाते हैं।
राव की बेटी आरती सिंह राव, जो अटेली सीट से जीतीं, भी मंत्री पद की दौड़ में हैं।
सूत्रों ने बताया कि नारनौल से जीते ओम प्रकाश यादव और बादशाहपुर से जीते वरिष्ठ नेता राव नरबीर सिंह भी मंत्री पद की दौड़ में शामिल हैं।
आरती के अलावा अन्य महिला चेहरों में वरिष्ठ नेता किरण चौधरी की बेटी श्रुति (तोशाम विधानसभा सीट से जीतीं) और शक्ति रानी शर्मा (कालका से जीतीं) भी दौड़ में शामिल हैं।
सूत्रों ने बताया कि जीतने वाले तीनों निर्दलीय विधायकों ने घोषणा की है कि वे नई सरकार बनने पर उसका समर्थन करेंगे, लेकिन उनमें से हिसार सीट से विधायक सावित्री जिंदल के नाम को मंत्री पद की दौड़ से बाहर नहीं किया गया है।
अन्य दावेदारों में भाजपा नेता अनिल विज (अंबाला कैंट), श्याम सिंह राणा (रादौर), जगमोहन आनंद (करनाल), हरविंदर कल्याण (घरौंदा), कृष्ण लाल मिड्ढा (जींद), अरविंद कुमार शर्मा (गोहाना), विपुल गोयल (फरीदाबाद), निखिल मदान (सोनीपत) और घनश्याम दास (यमुनानगर) के नाम शामिल हैं।
उचाना कलां सीट से जीते देवेंदर अत्री भी संभावित मंत्रियों की दौड़ में शामिल हैं। अत्री ने अपने निकटतम प्रतिद्वंद्वी कांग्रेस के बृजेंद्र सिंह को हराया। यह सीट जजपा नेता दुष्यंत चौटाला के पास थी।
भाषा संतोष