उपचुनाव: दक्षिण भारत में कांग्रेस की शानदार जीत, प्रियंका की वायनाड से विजयी शुरुआत
संतोष पवनेश
- 23 Nov 2024, 08:52 PM
- Updated: 08:52 PM
वायनाड/बेंगलुरु, 23 नवंबर (भाषा) देश के दक्षिणी क्षेत्र के मतदाताओं के समर्थन के बूते शीर्ष नेता प्रियंका गांधी वाद्रा सहित कांग्रेस के अन्य प्रत्याशियों ने कर्नाटक और वाम शासित केरल की लोकसभा और विधानसभा सीट के लिए हुए उपचुनावों में लगभग सूपड़ा साफ किया है। उपचुनाव में केवल एक सीट माकपा के खाते में गई है।
वायनाड के मतदाताओं ने लगातार तीसरी बार गांधी परिवार को विजय दिलाई और राहुल गांधी के उत्तराधिकारी के रूप में उनकी बहन प्रियंका को सांसद चुना। सत्तारूढ़ वाम दल और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) द्वारा मैदान में उतारे गए उम्मीदवारों को हार का सामना करना पड़ा।
लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने 2019 और 2024 में केरल के वायनाड लोकसभा क्षेत्र से चुनावी जीत हासिल की थी। हालांकि, इस बार उत्तर प्रदेश के रायबरेली से भी विजयी रहने के कारण उन्होंने इसे (वायनाड सीट को) खाली कर दिया, जिसके बाद पार्टी ने प्रियंका को मैदान में उतारा। प्रियंका ने गांधी परिवार के लिए वायनाड की प्राथमिकता को प्रदर्शित करते हुए 4.10 लाख से अधिक वोटों के प्रभावशाली अंतर से जीत हासिल की।
कांग्रेस ने पलक्कड़ विधानसभा सीट भी बरकरार रखी। वामपंथ का गढ़ चेलक्कारा सीट को मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) अपने पास बरकरार रखने में सफल रही।
कर्नाटक में कांग्रेस ने उन सभी तीन विधानसभा सीट पर जीत हासिल की जहां उपचुनाव हुए थे।
मल्लिकार्जुन खरगे के नेतृत्व वाली पार्टी ने शिग्गाओं और चन्नापटना सीट को विपक्षी भाजपा के नेतृत्व वाले गुट से छीन लिया। इस चुनावी जीत को कांग्रेस के मुख्यमंत्री सिद्धरमैया और उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार के नेतृत्व के प्रति लोगों के समर्थन के रूप में देखा जा रहा है। डीके शिवकुमार कांग्रेस की राज्य इकाई के अध्यक्ष भी हैं।
कांग्रेस ने संडुर के अपने गढ़ को बरकरार रखा, लेकिन बाकी सीट पर सफलता सत्तारूढ़ पार्टी के लिए और भी सुखद होगी।
कांग्रेस के सी पी योगीश्वर ने जनता दल (सेक्युलर) उम्मीदवार और केंद्रीय मंत्री एचडी कुमारस्वामी के बेटे निखिल कुमारस्वामी को हराकर चन्नापटना सीट जीती।
इसी तरह, कांग्रेस के यासिर अहमद खान पठान ने पूर्व मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई के बेटे भरत बोम्मई को हराकर शिग्गाओं विधानसभा सीट जीत ली।
पार्टी के अच्छे प्रदर्शन से उत्साहित सिद्धरमैया ने कहा कि वह ‘जनता की अदालत’ में जीत गए हैं। मुख्यमंत्री सिद्धरमैया मैसुरु शहरी विकास प्राधिकरण (एमयूडीए) भूखंड आवंटन घोटाले में आरोपी हैं, जहां मैसुरु के पॉश इलाके में 14 भूखंड उनकी पत्नी पार्वती को आवंटित किये गए थे। हालांकि, विवाद के बाद पार्वती ने अपने भूखंड एमयूडीए को वापस कर दिये हैं।
भाषा संतोष