दिवाली और बंदी छोड़ दिवस के मौके पर मंदिर और गुरुद्वारे पहुंचे ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री
वैभव अविनाश
- 01 Nov 2024, 09:13 PM
- Updated: 09:13 PM
कैनबरा, एक नवंबर (भाषा) ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री एंथनी अल्बनीज ने शुक्रवार को दिवाली के मौके पर एक मंदिर में दर्शन किए, वहीं बंदी छोड़ दिवस के अवसर पर गुरुद्वारे में मत्था टेका।
अल्बनीज (61) ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर अपनी तस्वीरें साझा कीं जिनमें वह सिडनी के ग्लेनवुड में एक गुरुद्वारे में नारंगी रंग की पगड़ी पहने हुए दिखाई दे रहे हैं। उन्होंने इस मौके पर गुरुद्वारे की नयी रसोई का भी उद्घाटन किया।
उन्होंने ‘एक्स’ पर लिखा, ‘‘बंदी छोड़ दिवस मुबारक। गुरुद्वारा साहिब ग्लेनवुड में आज इस मौके पर जाना और नए रसोईघर का उद्घाटन करना शानदार रहा।’’
तस्वीरों में ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री को सिख समुदाय के सदस्यों के साथ मुस्कराते हुए और श्रद्धालुओं के साथ सेल्फी खींचते हुए भी देखा जा सकता है।
बंदी छोड़ दिवस छठे सिख गुरु, गुरु हरगोविंद सिंह की मुगल शासक जहांगीर के शासन के दौरान ग्वालियर किले से रिहाई की याद में मनाया जाता है।
अल्बनीज ने सिडनी के मुरुगन मंदिर में जाकर तमिल ऑस्ट्रेलियाई समुदाय के लोगों के साथ दिवाली मनाई।
उन्होंने ‘एक्स’ पर लिखा, ‘‘दीपावली अंधकार पर प्रकाश की जीत का उत्सव है। आज सिडनी के मुरुगन मंदिर में तमिल ऑस्ट्रेलियाई समुदाय के साथ यह उत्सव मनाना सुखद रहा। मंदिर में रोजाना सभी वर्गों के लोग आते हैं और यह पश्चिम सिडनी के दक्षिण एशियाई हिंदू समुदाय का केंद्र बन गया है।’’
इससे पहले ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री ने दीप पर्व मनाने वाले सभी लोगों को बधाई दी।
सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर एक प्रेस विज्ञप्ति में उनके हवाले से लिखा गया, ‘‘आनंद, आशा और साथ का यह वार्षिक उत्सव आस्था और संस्कृति का अत्यंत सुंदर आयोजन है जिसे ऑस्ट्रेलिया के विविधता पूर्ण और जीवंत समाज ने अपनाया है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘दिवाली की परंपराएं और रीतियां हर तरह से समुदाय, संस्कृति और धरोहर की अभिव्यक्ति हैं। यह प्रियजनों के साथ की खुशी का और सदियों पुरानी परंपराओं की साझा विरासत को प्रदर्शित करने का अवसर है।’’
भाषा वैभव