पंजाब में ग्राम पंचायतों के लिए मतदान संपन्न, गोलीबारी की दो घटनाएं
नेत्रपाल अविनाश
- 15 Oct 2024, 07:58 PM
- Updated: 07:58 PM
(तस्वीरों के साथ)
चंडीगढ़, 15 अक्टूबर (भाषा) पंजाब में मंगलवार को कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच ग्राम पंचायतों के लिए मतदान संपन्न हो गया।
अधिकारियों ने बताया कि मतदान के दौरान गोलीबारी की दो घटनाओं की खबर मिली।
उन्होंने कहा कि ‘सरपंच’ और ‘पंच’ पदों के लिए मतदान मत पत्रों के जरिए सुबह आठ बजे शुरू हुआ और शाम चार बजे संपन्न हो गया।
अधिकारियों के अनुसार, 45 प्रतिशत से अधिक मतदान दर्ज किया गया। पूरा विवरण मिलने के बाद मतदान प्रतिशत के आंकड़े में वृद्धि की संभावना है।
उन्होंने कहा कि अब मतदान के बाद मतदान केंद्रों पर मतों की गिनती की जाएगी।
तरन तारन जिले के सोहन सैन भगत गांव में एक मतदान केंद्र के बाहर गोलीबारी की घटना हुई जिसमें एक व्यक्ति घायल हो गया। घायल मनदीप सिंह को अस्पताल ले जाया गया जहां उसकी हालत खतरे से बाहर बताई जाती है।
पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि दो समूहों के बीच झड़प हुई और मामले की जांच की जा रही है।
गोलीबारी की एक अन्य घटना पटियाला जिले के खुड्डा गांव में हुई जिसमें एक व्यक्ति घायल हो गया। पुलिस के एक अधिकारी ने कहा कि 20-25 लोग एक मतदान केंद्र पर पहुंचे और कथित तौर पर मतदान कर्मियों के साथ मारपीट की तथा एक मतपेटी छीन ली। उन्होंने कहा कि बाद में उन्होंने मतपेटी पास के एक खेत में फेंक दी।
घटनास्थल का दौरा करने वाले कांग्रेस सांसद धर्मवीर गांधी ने मामले में सख्त कार्रवाई की मांग की।
अमृतसर के बल्लागन गांव में एक मतदान केंद्र पर दो गुट आपस में भिड़ गए और एक-दूसरे पर पथराव किया।
फिरोजपुर के जीरा के लोहके खुर्द गांव में एक मतदान केंद्र पर एक अज्ञात व्यक्ति ने मतपेटी पर स्याही फेंकने की कोशिश की। एक अधिकारी ने कहा कि आगे की कार्रवाई के लिए घटना को वरिष्ठ अधिकारियों के संज्ञान में लाया गया है।
पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि बरनाला जिले के ढिलवां गांव में चुनाव ड्यूटी पर तैनात उपनिरीक्षक लाखा सिंह (53) का निधन हो गया।
कृषि मंत्री गुरमीत सिंह खुडियां ने अपने बेटे के साथ मुक्तसर जिले के खुडियां गांव में वोट डाला जबकि शिक्षा मंत्री हरजोत सिंह बैंस ने आनंदपुर साहिब के गंभीरपुर गांव में अपने मताधिकार का प्रयोग किया।
बैंस ने पत्रकारों से बातचीत में लोगों से उन उम्मीदवारों को चुनने के लिए बड़ी संख्या में वोट डालने की अपील की जो गांवों के विकास के लिए काम करेंगे।
अधिकारियों ने बताया कि राज्य निर्वाचन अयोग ने कुछ तकनीकी कारणों से लुधियाना के जगरांव उपमंडल के डल्ला और पोना गांवों में मतदान रद्द कर दिया। उन्होंने कहा कि इन गांवों में मतदान की अगली तारीख की घोषणा बाद में की जाएगी।
पंचायत चुनावों के लिए 19,110 मतदान केंद्र बनाए गए थे जिनमें से 1,187 को अत्यधिक संवेदनशील बताया गया था। राज्य में 13,225 ग्राम पंचायत हैं।
अधिकारी के अनुसार, 9,398 ग्राम पंचायतों में ‘सरपंच’ के पद रिक्त थे। सरपंच पदों के लिए 3,798 उम्मीदवार पहले ही निर्विरोध चुने जा चुके हैं।
कई मतदान केंद्रों पर सुबह बुजुर्ग मतदाता, महिलाएं और युवा कतारों में खड़े दिखाई दिए।
यह चुनाव विधानसभा द्वारा पिछले महीने पारित पंजाब पंचायती राज (संशोधन) विधेयक, 2024 के परिणामस्वरूप राजनीतिक दलों के प्रतीक चिह्नों के बगैर कराया गया।
इस चुनाव के लिए कुल 1.33 करोड़ पंजीकृत मतदाता थे।
अधिकारियों ने बताया कि ‘सरपंच’ पद के लिए 25,588 उम्मीदवार चुनावी मैदान में थे और ‘पंच’ पद के लिए 80,598 उम्मीदवार थे।
लगभग 96,000 कर्मियों को चुनाव ड्यूटी पर तैनात किया गया।
पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने सोमवार को लोगों से अपने मताधिकार का प्रयोग करने की अपील की थी।
पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय ने पंचायत चुनावों के खिलाफ विभिन्न आधारों पर दायर कई याचिकाएं सोमवार को खारिज कर दी थीं।
उच्चतम न्यायालय ने नामांकन प्रक्रिया में कथित अनियमितताओं के आधार पर पंचायत चुनावों पर रोक लगाने से मंगलवार को इनकार करते हुए कहा कि अगर अदालतें मतदान वाले दिन चुनावों पर रोक लगाना शुरू करेंगी तो ‘‘अराजकता’’ पैदा हो जाएगी।
भाषा नेत्रपाल