मणिपुर कांग्रेस ने प्रदेश पार्टी प्रमुख को ईडी के समन की निंदा की, ‘प्रतिशोध की राजनीति’ करार दिया
अमित अविनाश
- 08 Oct 2024, 10:19 PM
- Updated: 10:19 PM
इंफाल, आठ अक्टूबर (भाषा) मणिपुर कांग्रेस ने प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा प्रदेश पार्टी प्रमुख के. मेघचंद्र को समन भेजे जाने की मंगलवार को कड़ी निंदा की और इसे ‘‘प्रतिशोध की राजनीति’’ बताया। कांग्रेस ने कहा कि देश की सबसे पुरानी पार्टी को ‘डबल इंजन’ सरकार चुप नहीं करा सकती।
कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता भूपेंद्र मेइती ने पत्रकारों से कहा, ‘‘हम प्रवर्तन निदेशालय द्वारा प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष के. मेघचंद्र को जारी किए गए समन की कड़ी निंदा करते हैं और इसे राजनीतिक प्रतिशोध के रूप में देखते हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘मेघचंद्र ने अध्यक्ष और विधायक के रूप में केंद्र और राज्य दोनों में ‘डबल इंजन’ वाली भाजपा सरकार के खिलाफ निडरता से आवाज उठायी है। वह लोगों की आवाज का प्रतिनिधित्व करते हैं, सरकार की विफलताओं को उजागर करते हैं और राज्य के कल्याण के लिए अथक प्रयास करते हैं।’’
भूपेंद्र ने बताया कि सोमवार को मेघचंद्र को घर पर ईडी के विशेष कार्य बल से एक समन मिला, जिसमें उन्हें सात अक्टूबर को राष्ट्रीय राजधानी में उपस्थित होने के लिए कहा गया था। उन्होंने कहा, ‘‘चूंकि उन्होंने (मेघचंद्र) कल ही समन देखा और वे तत्काल यात्रा करने में असमर्थ थे, इसलिए वे दिल्ली नहीं जा सके।’’
उन्होंने कहा, ‘‘मणिपुर कांग्रेस इसे राज्य में उथल-पुथल को संभालने में केंद्र सरकार की विफलताओं और प्रधानमंत्री मोदी का दौरा नहीं करने के मुद्दे से ध्यान हटाने की रणनीति के रूप में देखती है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘कांग्रेस को डराया नहीं जा सकता और राहुल गांधी एक निडर नेता हैं। हम चुप नहीं रहेंगे, ईडी का यह समन हमें चुप नहीं करा पाएगा। हम राज्य और देश के लोगों की वकालत करते रहेंगे और ‘डबल इंजन’ वाली सरकार की विफलताओं को लगातार उजागर करते रहेंगे।’’
मेघचंद्र सोमवार को धन शोधन निवारण अधिनियम 2002 (पीएमएलए) के तहत जांच के सिलसिले में प्रवर्तन निदेशालय के सामने पेश होने में 'विफल' रहे। कांग्रेस के एक वरिष्ठ पदाधिकारी ने हालांकि दावा किया कि समन कुछ दिन पहले जारी किया गया था लेकिन पार्टी के प्रदेश प्रमुख को इसके बारे में सोमवार को ही पता चला। उन्होंने कहा, ‘‘इसलिए वह समय पर पेश नहीं हो पाए।’’
ईडी के सहायक निदेशक अमित कुमार द्वारा तीन अक्टूबर को जारी समन में कहा गया है कि साक्ष्य प्रस्तुत करने और प्रासंगिक रिकॉर्ड प्रस्तुत करने के लिए मेघचंद्र की सात अक्टूबर को व्यक्तिगत रूप से उपस्थिति आवश्यक है। नोटिस में चेतावनी दी गई है कि अनुपालन न करने पर पीएमएलए के तहत दंडात्मक कार्यवाही हो सकती है।
भाषा अमित