राजमार्ग बंद होने से कश्मीर में किसी भी चीज की आपूर्ति में कोई कमी नहीं: उमर अब्दुल्ला
योगेश मनीषा
- 22 Apr 2025, 05:27 PM
- Updated: 05:27 PM
रामबन, 22 अप्रैल (भाषा) जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने मंगलवार को कहा कि जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के लगातार तीसरे दिन भी बारिश और भूस्खलन के कारण बंद होने के बावजूद कश्मीर घाटी में किसी भी चीज की आपूर्ति में कोई कमी नहीं है।
भारी बारिश और बादल फटने से हुए भूस्खलन के कारण रविवार को राजमार्ग कई स्थानों पर अवरुद्ध हो गया।
अब्दुल्ला ने कहा कि जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर सड़क साफ करने का काम युद्ध स्तर पर जारी है और अधिकारियों ने उन्हें बताया है कि वे अगले 24 घंटों के भीतर राजमार्ग को एकल लेन वाले यातायात के लिए खोलने का प्रयास कर रहे हैं।
अब्दुल्ला ने यहां उपायुक्त कार्यालय में अधिकारियों के साथ बैठक की अध्यक्षता करने के बाद संवाददाताओं से कहा, "कश्मीर में किसी भी चीज की कोई कमी नहीं है... हमारे पास अगले तीन से चार दिनों के लिए सब कुछ है।"
मुख्यमंत्री ने जमीनी स्थिति का आकलन करने और प्रभावित परिवारों से मिलने के लिए दूसरे दिन भी पहाड़ी जिले के बाढ़ और भूस्खलन प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया।
उन्होंने कहा, "हमें यह ध्यान में रखना होगा कि यहां अफवाहें बहुत तेजी से फैलती हैं और इसलिए मैं नहीं चाहता कि लोग (कश्मीर में) पेट्रोल पंप के बाहर कतारों में लगें। यही कारण है कि मैंने संबंधित विभाग से मुगल रोड के जरिए कश्मीर में कुछ ईंधन टैंकर भेजने को कहा है ताकि लोगों को यह संदेश दिया जा सके कि हमारे पास आवश्यक चीजें पहुंचाने के साधन हैं।"
जब मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला से यह पूछा गया कि राजमार्ग बंद होने के बाद कश्मीर आने-जाने वाले हवाई किरायों में भारी बढ़ोतरी के मुद्दे को क्या वह उठाएंगे, तो उन्होंने कहा कि अभी तक उन्होंने इस पर ध्यान नहीं दिया है।
उन्होंने कहा, "हम सड़कें ठीक करेंगे और लोगों तक राहत एवं आवश्यक चीजें पहुंचाएंगे। इसके बाद हम हवाई किराए के मुद्दे पर ध्यान देना शुरू करेंगे।"
अब्दुल्ला ने कहा कि उनका प्रशासन क्षति का आकलन कर रहा है और प्रभावित परिवारों को राशन और पानी उपलब्ध कराने की व्यवस्था कर रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा, "हम आपदा में सबसे ज्यादा प्रभावित हुए लोगों के लिए जम्मू से मुफ्त राशन देने की घोषणा करेंगे। मैं इसके लिए जरूरी कागजात जल्द तैयार करूंगा। जिनके पास खाने को कुछ नहीं है, उनके लिए उपायुक्त को सामुदायिक रसोई शुरू करने को कहा गया है। साथ ही, पानी की आपूर्ति के लिए टैंकर भी भेजे जा रहे हैं।"
भाषा योगेश