नेशनल हेराल्ड मामला: गुजरात में विभिन्न जगहों पर कांग्रेस के खिलाफ भाजपा का प्रदर्शन
वैभव माधव
- 17 Apr 2025, 10:22 PM
- Updated: 10:22 PM
अहमदाबाद, 17 अप्रैल (भाषा) प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा कांग्रेस नेताओं सोनिया गांधी और राहुल गांधी पर 988 करोड़ रुपये के धनशोधन के मामले में आरोपपत्र दाखिल किए जाने के बाद गुजरात में सत्तारूढ़ भाजपा ने बृहस्पतिवार को विपक्षी पार्टी के खिलाफ गुजरात के विभिन्न हिस्सों में प्रदर्शन किया।
अहमदाबाद, सूरत और वडोदरा शहर में विरोध प्रदर्शन किया गया। इस दौरान राहुल गांधी का पुतला भी जलाया गया।
अहमदाबाद में विरोध प्रदर्शन का नेतृत्व विधायक अमित पी शाह ने किया, जो पार्टी की स्थानीय इकाई के प्रमुख भी हैं।
ईडी के कदम के खिलाफ कांग्रेस के आंदोलन का जिक्र करते हुए विधायक शाह ने कहा कि विपक्षी पार्टी अपने नेताओं के कुकृत्यों को छिपाने के लिए विरोध प्रदर्शन का सहारा ले रही है।
शाह ने आरोप लगाया, ‘‘हर कोई जानता है कि सोनिया गांधी और राहुल गांधी दोनों इस मामले में जमानत पर हैं। यह घोटाला कांग्रेस के नेतृत्व वाली संप्रग सरकार के दौरान हुआ था। ईडी द्वारा दायर आरोपपत्र साबित करता है कि कांग्रेस के नेता भ्रष्ट थे, हैं और हमेशा भ्रष्ट रहेंगे।’’
वडोदरा में प्रदर्शन का नेतृत्व विधायक और विधानसभा में भाजपा के मुख्य सचेतक बालकृष्ण शुक्ला ने किया।
डांडिया बाजार इलाके में विरोध प्रदर्शन के दौरान शुक्ला ने कहा, ‘‘शर्मिंदा होने के बजाय कांग्रेस नेता हम पर चिल्ला रहे हैं। यह बेहद शर्मनाक है। ऐसा घोटाला किसी भी लोकतांत्रिक देश में कभी नहीं हुआ। कांग्रेस नेताओं को पूरे देश से माफी मांगनी चाहिए।’’
सूरत के चौक बाजार में कांग्रेस कार्यालय के पास विरोध प्रदर्शन के दौरान भाजपा कार्यकर्ताओं ने राहुल गांधी का पुतला फूंका।
सूरत भाजपा अध्यक्ष परेश पटेल ने दावा किया, ‘‘90 करोड़ रुपये के कर्ज के एवज में कांग्रेस नेशनल हेराल्ड की 2000 करोड़ रुपये की संपत्ति हड़पने की योजना बना रही थी। अन्यथा कोई राजनीतिक दल किसी निजी कंपनी को कर्ज क्यों देगा? यह स्पष्ट है कि कांग्रेस की दिलचस्पी केवल संपत्ति में थी, अखबार को पुनर्जीवित करने में नहीं।’’
प्रवर्तन निदेशालय ने नेशनल हेराल्ड मामले में सोनिया गांधी, राहुल गांधी और अन्य के खिलाफ नई दिल्ली की एक विशेष अदालत में आरोपपत्र दाखिल किया, जिसमें उन पर 988 करोड़ रुपये के धनशोधन का आरोप लगाया गया।
अभियोजन पक्ष की शिकायत 9 अप्रैल को धनशोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) की विभिन्न धाराओं के तहत दर्ज की गई थी।
भाषा वैभव