मणिपुर: भाजपा विधायकों की परिसीमन से पहले 2001 की जनगणना की समीक्षा, एनआरसी कार्यान्वयन की मांग
नेत्रपाल प्रशांत
- 01 Apr 2025, 09:04 PM
- Updated: 09:04 PM
इंफाल, एक अप्रैल (भाषा) मणिपुर के भाजपा विधायकों ने मंगलवार को राज्य में परिसीमन की प्रक्रिया शुरू करने से पहले 2001 की जनगणना की “समीक्षा” और राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) के कार्यान्वयन की मांग की।
पार्टी विधायकों ने उच्चतम न्यायालय द्वारा केंद्र को दिए गए आदेश पर चर्चा के लिए एक बैठक की। आदेश में तीन महीने के भीतर राज्य में परिसीमन प्रक्रिया पूरी करने का निर्देश दिया गया है।
वर्ष 2001 की जनगणना की समीक्षा की मांग ऐसे समय में की गई है जब कुछ दिन पहले ही 13 अन्य दलों ने केंद्र से राज्य में परिसीमन प्रक्रिया को तब तक स्थगित करने का आग्रह किया था, जब तक कि उस वर्ष जनगणना में हुई “त्रुटियों” को ठीक नहीं कर लिया जाता।
बैठक के बाद वरिष्ठ भाजपा विधायक कोंथौजम गोविंददास ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘परिसीमन के संबंध में हम वही चाहते हैं जो लोग चाहते हैं। सबसे पहले, 2001 की जनगणना की समीक्षा की जानी चाहिए।’’
पूर्व मंत्री गोविंददास ने एक सवाल के जवाब में कहा कि परिसीमन के लिए राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) भी एक बड़ा मुद्दा है।
मणिपुर के विभिन्न मेइती नागरिक संस्थाओं के छत्र निकाय कोकोमी ने हाल में अशांत राज्य में एनआरसी के कार्यान्वयन से पहले परिसीमन के कदम पर आपत्ति जताते हुए कहा था कि अवैध प्रवासियों को निकाले बिना ऐसी कोई भी प्रक्रिया स्थानीय लोगों के लिए हानिकारक होगी।
पूरे देश के लिए परिसीमन 2026 में निर्धारित है।
परिसीमन के संबंध में भाजपा द्वारा रखे जा रहे प्रस्तावों के बारे में पूछे जाने पर पार्टी के एक अन्य विधायक युमनाम खेमचंद ने कहा, ‘‘मसौदा तैयार किया जा रहा है।’’
उच्चतम न्यायालय ने 17 मार्च को केंद्र को अरुणाचल प्रदेश, नगालैंड, मणिपुर और असम में परिसीमन कार्य करने के लिए तीन महीने का समय दिया था।
केंद्र ने शीर्ष अदालत को बताया था कि अरुणाचल प्रदेश और नगालैंड के लिए परामर्श जारी है, लेकिन मणिपुर में जारी हिंसा के कारण स्थिति इस कवायद के लिए अनुकूल नहीं है।
एन. बीरेन सिंह के मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देने के बाद केंद्र ने 13 फरवरी को राज्य में राष्ट्रपति शासन लगा दिया था। विधानसभा का कार्यकाल 2027 तक है, जिसे निलंबित कर दिया गया है।
राज्य के कुल 37 भाजपा विधायकों में से 12 ने मंगलवार को परिसीमन के मुद्दे पर चर्चा के लिए प्रदेश मुख्यालय में आयोजित बैठक में भाग लिया। ये सभी 12 विधायक इंफाल घाटी क्षेत्र से हैं।
बैठक में कम उपस्थिति के बारे में पूछे जाने पर एक वरिष्ठ भाजपा नेता ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘यह जल्दबाजी में बुलाई गई थी और कई विधायक शहर से बाहर हैं। हालांकि, सभी भाजपा विधायक परिसीमन से पहले एनआरसी के कार्यान्वयन और 2001 की जनगणना की समीक्षा का समर्थन करते हैं।’’
भाषा नेत्रपाल