उपचुनाव के लिए प्रचार थमा, कई उम्मीदवारों की किस्मत दांव पर
धीरज नेत्रपाल
- 09 Nov 2025, 07:31 PM
- Updated: 07:31 PM
जम्मू/आईजोल, नौ नवंबर (भाषा) जम्मू-कश्मीर विधानसभा की नगरोटा सीट और मेघालय विधानसभा की डम्पा सीट के लिए 11 नवंबर को होने वाले उपचुनाव के लिए रविवार शाम को प्रचार का शोर थम गया।
जम्मू के नगरोटा क्षेत्र की सीट पर 10 उम्मीदवार मैदान में हैं। पिछले साल भाजपा विधायक देवेंद्र सिंह राणा के निधन के कारण यह उपचुनाव आवश्यक हो गया था। इस सीट पर भाजपा की देवयानी राणा, नेशनल कॉन्फ्रेंस (नेकां) की शमीम बेगम और जम्मू-कश्मीर नेशनल पैंथर्स पार्टी के अध्यक्ष हर्ष देव सिंह के बीच त्रिकोणीय मुकाबला की उम्मीद है।
आम आदमी पार्टी के जोगिंदर सिंह, अपनी पार्टी के बोध राज और तीन निर्दलीयों सहित पांच अन्य उम्मीदवार भी इस निर्वाचन क्षेत्र से अपना भाग्य आजमा रहे हैं। इस निर्वाचन क्षेत्र में 97,893 पंजीकृत मतदाता और 150 मतदान केंद्र हैं।
जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला और केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने भी प्रचार अभियान में शामिल होकर अंतिम चरण को गति दी। उपमुख्यमंत्री सुरिंदर चौधरी, कई मंत्रियों और नेकां के अन्य नेताओं ने भी बेगम के समर्थन में कई जनसभाएं कीं।
चुनाव कार्यालय के एक अधिकारी ने बताया कि चुनाव प्रचार शाम छह बजे शांतिपूर्ण ढंग से समाप्त हो गया और अब ध्यान शांतिपूर्ण मतदान सुनिश्चित करने पर होगा, जिसके बाद 14 नवंबर को नतीजे घोषित किए जाएंगे।
वर्ष 1996 के विधानसभा चुनाव के बाद से भाजपा ने नगरोटा सीट तीन बार - 2002, 2008 और 2024 - जीती है, जबकि नेकां ने 1996 और 2014 में दो बार जीत हासिल की थी।
वहीं, मिजोरम के मामित जिले की डप्पा सीट पर भी प्रचार अभियान समाप्त हो गया है। अधिकारियों ने बताया कि इस सीट पर 21,003 मतदाता पांच उम्मीदवारों के भाग्य का मंगलवार को फैसला करेंगे।
मामित के निर्वाचन अधिकारी लालनुनफेला चावंगथु ने बताया कि दूरदराज के छह मतदान केंद्रों के लिए नियुक्त मतदान अधिकारी रविवार को अपने-अपने मतदान केंद्रों के लिए रवाना हो गए हैं।
उन्होंने बताया कि इसके अतिरिक्त, बांग्लादेश सीमा के निकट सिलसुरी में तीन महत्वपूर्ण मतदान केंद्रों पर तैनात किए जाने वाले केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (सीएपीएफ) की तीन टुकड़ियां भी रविवार को अपने गंतव्य के लिए रवाना हो गई हैं।
अधिकारी ने बताया कि शेष 35 मतदान केंद्रों के लिए मतदान अधिकारी सोमवार को अपने गंतव्य के लिए रवाना होंगे।
इस बीच, राजनीतिक दल रविवार को मतदाताओं को लुभाने के लिए अंतिम प्रयास में व्यस्त रहे।
आधिकारिक रूप से चुनाव प्रचार के अभियान की समय सीमा रविवार को समाप्त हो गई, फिर भी राजनीतिक दलों ने शनिवार को विभिन्न गांवों में अभियान के समापन के अवसर पर समारोह आयोजित किए।
शनिवार को रीएक गांव में चुनाव प्रचार समापन समारोह को संबोधित करते हुए मुख्य विपक्षी दल मिजो नेशनल फ्रंट (एमएनएफ) के अध्यक्ष ज़ोरमथांगा ने सत्तारूढ़ ज़ोरम पीपुल्स मूवमेंट (जेडपीएम) पर निशाना साधते हुए दावा किया कि पार्टी शायद अपना कार्यकाल पूरा नहीं कर पाएगी।
उन्होंने दावा किया कि 2028 में होने वाले अगले विधानसभा चुनावों में राज्य की राजनीति से जेडपीएम का सफाया हो जाएगा।
डम्पा उपचुनाव के लिए पांच उम्मीदवार मैदान में हैं। यहां चुनाव मिजो नेशनल फ्रंट (एमएनएफ) के विधायक लालरिन्टलुआंगा सैलो के 21 जुलाई को निधन के कारण आवश्यक हो गया था।
सत्तारूढ़ ज़ोरम पीपुल्स मूवमेंट (जेडपीएम) ने मिजो गायक और उपदेशक वनलालसैलोवा को मैदान में उतारा है, मिजो नेशनल फ्रंट (एमएनएफ) ने पार्टी के वरिष्ठ उपाध्यक्ष और पूर्व स्वास्थ्य मंत्री डॉ. आर लालथंगलियाना को और कांग्रेस ने पार्टी के उपाध्यक्ष और पूर्व परिवहन मंत्री जॉन रोटलुआंगलियाना को अपना उम्मीदवार बनाया है।
भाजपा ने लालमिंगथांगा को उम्मीदवार बनाया है, जबकि पूर्व मुख्यमंत्री ब्रिगेडियर टी. सैलो की पार्टी (पीपुल्स कॉन्फ्रेंस) ने अपने उपाध्यक्ष के. जामिंगथांगा को मैदान में उतारा है।
भाषा धीरज