बिहार विधानसभा चुनाव के दूसरे चरण में करीब 69 प्रतिशत मतदान
कैलाश शोभना
- 11 Nov 2025, 09:38 PM
- Updated: 09:38 PM
पटना, 11 नवंबर (भाषा) बिहार में मंगलवार को विधानसभा चुनाव के दूसरे और अंतिम चरण में लगभग 69 प्रतिशत रिकॉर्ड मतदान हुआ और इसके साथ ही एक महीने से अधिक समय तक चले चुनावी महासमर का समापन हो गया।
इस चुनाव में सत्तारूढ़ राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) ने अपने ‘सुशासन’ के जरिए मतदाताओं को लुभाने की कोशिश की जबकि विपक्षी गठबंधन ‘इंडिया’ ने ‘बदलाव’ का आह्वान किया।
नतीजे 14 नवम्बर को घोषित किए जाएंगे, जो यह तय करेंगे कि जनता दल (यूनाइटेड) के अध्यक्ष और बिहार के सबसे लंबे कार्यकाल वाले मुख्यमंत्री नीतीश कुमार एक और कार्यकाल हासिल करेंगे या पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव, जिन्होंने 20 वर्षीय शासन को ‘खटारा गाड़ी’ करार दिया था, सत्ता की कमान अपने हाथ में लेते हैं।
मुख्य निर्वाचन अधिकारी (सीईओ) विनोद सिंह गुंजियाल ने संवाददाता सम्मेलन में बताया कि दूसरे और अंतिम चरण में राज्य में 68.79 प्रतिशत (अनंतिम) मतदान दर्ज किया गया।
दोनों चरणों को मिलाकर कुल औसत मतदान प्रतिशत 66.90 (अनंतिम) रहा, जो पिछले विधानसभा चुनाव की तुलना में 9.6 प्रतिशत अधिक है।
वर्ष 2020 के विधानसभा चुनाव में 57.29 प्रतिशत मतदान हुआ था।
सुबह से ही मतदान ने जोर पकड़ा और निर्वाचन आयोग द्वारा जारी आंकड़े छह नवंबर को पहले चरण में दर्ज मतदान प्रतिशत को लगातार पीछे छोड़ते गए, जब 121 सीटों पर 65.09 प्रतिशत का अब तक का सर्वोच्च मतदान दर्ज किया गया था।
‘इंडिया’ गठबंधन के नेता तेजस्वी यादव और उनके सहयोगियों का कहना है कि यह भारी मतदान सरकार विरोधी लहर का संकेत है, जबकि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नेता एवं बिहार चुनाव प्रभारी धर्मेंद्र प्रधान ने दावा किया कि भारी मतदान का अर्थ जरूरी नहीं कि बदलाव हो और कई बार मौजूदा सरकारें भी अधिक मतदान के बाद सत्ता में लौटती हैं।
जिन जिलों में पहले और दूसरे दोनों चरणों में 70 प्रतिशत से अधिक मतदान हुआ, वे सभी गंगा के उत्तर के घनी आबादी वाले क्षेत्र हैं जहां पारंपरिक रूप से राजग का प्रदर्शन अच्छा रहा है।
हालांकि शीर्ष तीन जिले-किशनगंज, कटिहार और पूर्णिया में मुस्लिम आबादी अधिक है और ये सभी जिले पिछली बार ‘इंडिया’ गठबंधन के पक्ष में गए थे।
राजग और ‘इंडिया’ गठबंधन के बीच इस कड़ी टक्कर में पूर्व चुनाव रणनीतिकार प्रशांत किशोर भी अपनी ‘जन सुराज पार्टी’ के साथ मैदान में हैं। उनकी पार्टी शिक्षा, रोजगार और ‘पलायन-मुक्त बिहार’ के वादे के साथ खुद को एक विकल्प के रूप में पेश कर रही है।
हालांकि नीतीश कुमार स्वयं चुनाव नहीं लड़ रहे हैं, लेकिन भाजपा के नेतृत्व वाला राजग ‘अच्छे शासन’ की उनकी छवि पर भरोसा जता रहा है। दूसरे चरण में नीतीश कैबिनेट के आठ मंत्री मैदान में थे, जिससे यह चरण सत्तारूढ़ गठबंधन और विपक्ष दोनों के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण रहा।
कांग्रेस के लिए भी यह चरण खास था। वह बिहार में ‘इंडिया’ गठबंधन की दूसरी सबसे बड़ी पार्टी है और 2020 में जीती गई 19 सीटों में से 12 सीट पर इसी चरण में मतदान था। इनमें दो प्रमुख प्रत्याशी- प्रदेश अध्यक्ष राजेश कुमार राम (कुटुंबा) और विधायक शकील अहमद खान (कदवा) शामिल हैं।
पहले चरण में छह नवंबर को 121 सीटों पर 3.75 करोड़ मतदाताओं में से 65.09 प्रतिशत ने मतदान किया था। सत्तारूढ़ राजग और विपक्षी ‘इंडिया’ गठबंधन, दोनों ही इस उच्च मतदान को अपने पक्ष में बता रहे हैं।
इस चुनाव का ‘‘एक्स फैक्टर’’ माने जा रहे जन सुराज पार्टी के नेता प्रशांत किशोर का कहना है कि मतदान प्रतिशत में वृद्धि इस बात का संकेत है कि ‘‘बिहार के लोगों ने अब एक विकल्प ढूंढ लिया है’’ और वह उनकी नई पार्टी को उस विकल्प के रूप में देख रहे हैं।
दूसरे चरण में 1,302 उम्मीदवारों की किस्मत ईवीएम में बंद हुई, जिनमें कई मंत्री भी शामिल हैं। मतदान सुबह सात बजे शुरू हुआ और शाम पांच बजे तक चला।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री कुमार ने मतदाताओं से अधिक से अधिक संख्या में मतदान करने और नया रिकॉर्ड बनाने की अपील की थी।
प्रधानमंत्री ने सुबह ‘एक्स’ पर लिखा, ‘‘आज बिहार विधानसभा चुनाव के दूसरे और अंतिम चरण का मतदान हो रहा है। मैं सभी मतदाताओं से अपील करता हूं कि वे उत्साहपूर्वक भाग लें और मतदान का नया रिकॉर्ड बनाएं। विशेष रूप से अपने युवा साथियों से कहना चाहता हूं कि वे स्वयं मतदान करें और दूसरों को भी प्रेरित करें।’’
मुख्यमंत्री कुमार ने कहा कि मतदान ‘‘केवल अधिकार ही नहीं, बल्कि जिम्मेदारी भी है।’’
उन्होंने सोशल मीडिया पोस्ट में लिखा, ‘‘मैं सभी मतदाताओं से अपील करता हूं कि वे दूसरे चरण के मतदान में बढ़-चढ़कर भाग लें और अपने मताधिकार का प्रयोग करें।’’
जिन जिलों में मतदान हुआ उनमें पश्चिम और पूर्वी चंपारण, सीतामढ़ी, मधुबनी, सुपौल, अररिया और किशनगंज शामिल हैं।
उपमुख्यमंत्री विजय कुमार सिन्हा ने कहा, ‘‘लोग वोट बटन दबाकर ‘सबका साथ, सबका विकास’ के मंत्र पर चल रही ‘डबल इंजन’ सरकार को आशीर्वाद दे रहे हैं।’’
भाषा कैलाश