भारत मालदीव के लोगों की आकांक्षाओं का समर्थन करने के लिए प्रतिबद्ध है: प्रधानमंत्री मोदी
योगेश रंजन
- 26 Jul 2025, 11:24 PM
- Updated: 11:24 PM
माले, 26 जुलाई (भाषा) प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी शनिवार को मालदीव के स्वतंत्रता दिवस समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए। मोदी का समारोह में शामिल होना दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय संबंधों में सुधार का एक और संकेत है।
मालदीव की राजधानी में स्थित समारोह स्थल, ‘रिपब्लिक स्क्वायर’ पर राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू और उनके मंत्रिमंडल के शीर्ष मंत्रियों ने मोदी का गर्मजोशी से स्वागत किया।
विदेश मंत्रालय ने कहा कि स्वतंत्रता दिवस समारोह में प्रधानमंत्री का मुख्य अतिथि के रूप में शामिल होना द्विपक्षीय संबंधों में एक 'मील का पत्थर' है।
विदेश मंत्रालय ने कहा कि यह पहला मौका है जब किसी भारतीय प्रधानमंत्री ने मालदीव में स्वतंत्रता दिवस समारोह में भाग लिया।
करीब 50 मिनट तक चले समारोह के बाद मोदी ने कहा कि भारत मालदीव की आकांक्षाओं का समर्थन करने के लिए प्रतिबद्ध है और मुइज्जू के साथ उनकी बातचीत द्विपक्षीय संबंधों के लिए महत्वपूर्ण साबित होगी।
मोदी ने मालदीव के लोगों और सरकार को स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक बधाई भी दीं।
मोदी ने कहा, ‘‘भारत और मालदीव के बीच गहरी साझेदारी है जो आपसी सम्मान, साझा मूल्यों और सांस्कृतिक एवं आर्थिक आदान-प्रदान के लंबे इतिहास पर आधारित है।’’
उन्होंने ‘एक्स’ पर कहा, ‘‘हमारे संबंध लगातार आगे बढ़ रहे हैं, जो लोगों के बीच आपसी संपर्क और विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग से आकार ले रहे हैं। भारत मालदीव के लोगों की आकांक्षाओं का समर्थन करने और हमारे ग्रह की बेहतरी के लिए मिलकर काम करने के लिए प्रतिबद्ध है।’’
प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘मालदीव के 60वें स्वतंत्रता दिवस समारोह में शामिल होना मेरे लिए सम्मान की बात थी। इस महत्वपूर्ण अवसर ने मालदीव के लोगों की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत और जीवंत भावना को प्रदर्शित किया।’’
उन्होंने कहा, ‘‘यह पिछले कुछ वर्षों में देश की परिवर्तन यात्रा का भी प्रतीक है। अपनी प्राचीन समुद्री परंपराओं से लेकर जलवायु परिवर्तन जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में वैश्विक नेतृत्व तक, मालदीव ने विश्व मंच पर अपने लिए एक विशिष्ट स्थान बनाया है।’’
मोदी ने कहा, ‘‘मालदीव के महान लोगों को मेरी ओर से शुभकामनाएं।’’
विदेश मंत्री एस जयशंकर और विदेश सचिव विक्रम मिसरी समेत प्रधानमंत्री के प्रतिनिधिमंडल के कई सदस्य इस कार्यक्रम में शामिल हुए।
प्रधानमंत्री शुक्रवार को दो दिवसीय यात्रा पर माले पहुंचे थे। उनका मुख्य उद्देश्य मालदीव के स्वतंत्रता दिवस समारोह में भाग लेना था।
मोदी की मालदीव यात्रा को तनाव के दौर के बाद द्विपक्षीय संबंधों में एक बड़े बदलाव के रूप में देखा जा रहा है। द्विपक्षीय संबंधों में यह बदलाव इसलिए महत्वपूर्ण है, क्योंकि चीन के करीबी माने जाने वाले मुइज्जू नवंबर 2023 में ‘‘इंडिया आउट’’ अभियान के बल पर द्वीपीय राष्ट्र की सत्ता में आए हैं।
भारत ने शुक्रवार को मालदीव के लिए 4,850 करोड़ रुपये की ऋण सुविधा देने की घोषणा की थी और जल्द ही एक मुक्त व्यापार समझौते को अंतिम रूप देने पर सहमति व्यक्त की थी। साथ ही प्रधानमंत्री मोदी ने कहा था कि भारत को मालदीव का ‘‘सबसे भरोसेमंद’’ मित्र होने पर गर्व है।
मोदी ने शनिवार को मालदीव में भारतीय समुदाय के लोगों से भी वार्ता की और दोनों देशों के बीच मजबूत और जीवंत संबंधों के निर्माण में उनके योगदान की सराहना की।
भाषा योगेश