विधायक कंवरलाल की सदस्यता का मामला, देवनानी ने महाधिवक्ता से राय मांगी
पृथ्वी नोमान
- 20 May 2025, 09:19 PM
- Updated: 09:19 PM
जयपुर, 20 मई (भाषा) राजस्थान विधानसभा के अध्यक्ष वासुदेव देवनानी ने अंता से भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायक कंवरलाल की सदस्यता के मामले में राज्य के महाधिवक्ता से राय मांगी है और उनसे इस मामले पर अपनी विधिक राय तुरंत देने को कहा गया है। विधानसभा के प्रवक्ता ने मंगलवार को यह जानकारी दी।
प्रवक्ता के अनुसार देवनानी ने विधायक कंवरलाल के मामले में राज्य के महाधिवक्ता को इस संबंध में तुरंत अपनी विधिक राय राजस्थान विधानसभा सचिवालय को भेजे जाने के लिए निर्दिष्ट किया है। देवनानी ने उम्मीद जताई है कि महाधिवक्ता की राय एक-दो दिन में राजस्थान विधानसभा सचिवालय को आवश्यक रूप से मिल जायेगी।
देवनानी ने कहा है कि महाधिवक्ता से विधिक राय प्राप्त होते ही विधायक कंवरलाल की सदस्यता को समाप्त किये जाने के बारे में तत्काल विधि सम्मत और न्याय सम्मत निर्णय लिया जायेगा।
उल्लेखनीय है कि कांग्रेस मीणा की विधानसभा की सदस्यता निरस्त करने की मांग कर रही है। झालावाड़ के अकलेरा की स्थानीय अदालत ने कंवरलाल को एक मामले में दोषी पाते हुए तीन साल की कैद की सजा सुनाई थी। इस फैसले को राजस्थान उच्च न्यायालय ने भी बरकरार रखा।
नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली सहित प्रतिपक्ष के कई विधायक मंगलवार को यहां देवनानी से मिले। इन सदस्यों ने कंवरलाल की सदस्यता समाप्त करने के मामले में ज्ञापन भी सौंपा। देवनानी ने इस संबंध में न्याय सम्मत शीघ्र निर्णय करने का आश्वस्त दिया।
विधानसभा के प्रवक्ता के मुताबिक, देवनानी ने विधायक कंवरलाल के संबंध में न्यायालय द्वारा दिये गये फैसले के दिन ही महाधिवक्ता को विधिक राय दिये जाने के लिए निर्दिष्ट कर दिया था। देवनानी इस मामले में निर्णय लिए जाने के संबंध में निरन्तर समीक्षा कर रहे है।
देवनानी का कहना है कि विधानसभा की सदस्यता को समाप्त करने के निर्णय के लिए न्यायालय के फैसले के सभी पहलुओं का अध्ययन करना होता है ताकि विधायक के साथ किसी प्रकार की नाइंसाफी ना हो।
विपक्षी विधायकों के साथ आज की मुलाकात में विधानसभा सचिवालय द्वारा गत दिनों समितियों में किये गये आंशिक संशोधन पर भी चर्चा हुई।
देवनानी ने कहा, “ नरेन्द्र बुड़ानिया को समिति से हटाया नहीं गया है। यह भ्रमित प्रचार है। उनके अनुभवों को ध्यान में रखते हुये उन्हें पिछड़े वर्गों के कल्याण संबंधी जैसी महत्वपूर्ण विषयों की समिति का सभापति बनाया गया है।”
देवनानी ने कहा कि केवल बुड़ानिया को ही नहीं बदला गया है उनके साथ तीन अन्य सभापतियों, जो सत्ता पक्ष से संबंध रखते है, को भी अन्य समिति का सभापति बनाया गया है।
भाषा पृथ्वी